मेरी रात की आवाज़ बहुत मीठी है,
और इसकी खुशबू में काला जादू है...!!!!
मेरी अपनी नींद से दुश्मनी करा रही है आजकल,
मुझे रोज़ पटा लेती है साली, बहुत चालु है ..!!!
रोज़ सुबह कसम खाता हूँ के आज नहीं मानूंगा,
कितना भी पटाए साली, आज नहीं हारूँगा..!!
लेकिन आसमान की गहराई है उसके अँधेरे में,
तभी तो रोज़ डुबा लेती है , छुपा लेती है , गुमा लेती है......
कमबख्त रोज़ आ जाती है ... फिर बैठी है मेरे तकिये से टिक कर ..........!!!!!!!!!!!!!!!
Bohot sundar. Dil jeet liya..
ReplyDeletethnx shruti.. I too like last line the most..
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